Qaul e Mawla Ali Alahiassalam फरमान ए मौला अलीع

Baaz Logo K Marne Se Bht Se Log Mar Jate H.,
Or Baaz Logo K Marne Se Bht Se Log Jeene Lgte H., Ye Apne Apne Qirdar Ka Natija H.,

Moula Ali Alyhis Salam 🌹💞

Insan Ki Tamam Pareshania Do Bato Ki Vjh Se H.,
1.Taqdeer Se Jyda Chahta H,
2.Waqt Se Pehle Chahata H.,,

Moula Ali Alyhis Salam 🌹💞

*फरमान ए मौला अलीع*
👇🏻🙏🏻
अगर कोई तुमको सिर्फ अपनी जरूरत के वक़्त याद करता हो तो नाराज मत होना।
बल्कि इस बात का फखर करना कि उसको अंधेरे मे रोशनी की जरूरत है और वह रोशनी तूम हो।❤

*फरमान ए मौला अलीع*
👇🏻🙏🏻
नेक लोगों की सोहबत (संगत) से हमेशा भलाई ही मिलती है
क्योंकि हवा जब फूलों से गुजरती है तो वो भी खुशबूदार हो जाती है।🌹

Advertisement

Hadeeth हाकिम-फी-अल-मुस्तदक. 03/352, रकम-5359

हज़रत अबु-हुरैरा (रज) से रिवायत है कि नबी करीम सल्लाहो अलैहे-वाआलिही-वसल्लम ने फरमाया –
“तुम में से बेहतरीन वह है, जो मेरे बाद मेरी एहलेबैत
के लिए बेहतरीन है।
(हाकिम-फी-अल-मुस्तदक. 03/352, रकम-5359)

Hadeeth एहलेबैत से मुहब्बत करने की हिदायत

हजरत ईमाम हसन बिन अली (अ.स.) बयान करते हैं कि हुजूर सल्लाहो अलैहे वाआलिही-वसल्लम ने फरमाया”हम एहलेबैत की मुहब्बत को लाज़िम पकड़ो, बस बेशक वह शख्स
जो इस हाल में अल्लाह से मिला कि वह हमें मुहब्बत करता था.
तो वह हमारी शफाअत के सदके में जन्नत में दाखिल होगा
और उस ज़ात की कसम जिसके कब्जा-ए-कुदरत में मेरी
जान है किसी शख्स को उसका अमल फाएदा नहीं देगा
मगर हमारे हक की मारेफत के सबब
(तबरानी-फी-मजनउ-ल-औसत. 02/380, रकम-2230)
नोट- इस हदीस-ए-पाक में एहलेबैत से मुहब्बत करने की हिदायत दी जा रही है, और
इससे यह भी पता चलता है कि आमाल किसी के भी हो उसको काम न आएँगे
(मसालन – नमाज़, रोज़ा, हज, जकात, सदाकात) बगैर मुहब्बते रसूल-ओ-आले
रसूल सल्लाहो अलैहे-वा-आलिही-वसल्लम के।